छत्तीसगढ़ के गरियाबंद में करंट की चपेट में आए तेंदुए को बचाया नहीं जा सका। इलाज के दौरान तेंदुए की मौत हो गई। तेंदुए को ऑक्सीजन और सीपीआर देने की तस्वीरें सामने आई थी। नंदनवन से विशेष वन्य पशु चिकित्सक बुलाए गए थे।
जिन्होंने तेंदुए की उखड़ती सांस को वापस लाने की पूरी कोशिश की। रविवार की रात बंदर का शिकार करने के प्रयास में एक पेड़ पर चढ़े तेंदुआ पास से गुजर रहे बिजली के 11 केवी तार की चपेट में आ गया। नीचे गिरकर तेंदुआ घंटों कीचड़ में पड़ा रहा। सुबह जब लोगों ने देखा तो वन विभाग को बुलाया।
तेंदुए की जान बचाने नंदनवन से डॉक्टर वर्मा को बुलाया गया, जिन्होंने पहुंचते ही सीपीआर दिया। जब स्थिति नहीं सुधरी तो तेंदुए को ऑक्सीजन दी गई। ग्लूकोज की बोतल चढ़ाई गई। हालांकि, तमाम कोशिशों के बावजूद भी तेंदुए की जान नहीं बचाई जा सकी। चिकित्सकों ने बताया कि पेड़ से गिरने की वजह तेंदुए की कई हड्डी टूट चुकी थी।