कम पढ़े लिखे और निरक्षर लोगों के नाम पर करवाते थे फाइनेंस, दूसरों को बेचते थे, चार सदस्य गिरफ्तार

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जबलपुर– कम पढ़े लिखे और निरक्षर लोगों के कागजात का इस्तेमाल दो पहिया वाहन और मोबाइल फाइनेंस करवाने में हेाता था। ये एक संगठित गिरोह है जो इस तरह का काम करते थे। फाइनेंस वाहन को आरोपित बाद में कम दाम पर दूसरों को बेच देते थे।

ओमती पुलिस ने गिरोह के सरगना उडि़या मोहल्ला ओमती निवासी गुलफाम अली उर्फ गुल्लू, सेल टैक्स ऑफिस के सामने वाले मोहम्मद हैदर उर्फ ईशू, बड़ी मदार टेकरी निवासी एहफाज और मयूर कला मंदिर चुंगीचौकी निवासी आशुतोष झा को गिरफ्तार कर लिया है।

ओमती थाना प्रभारी वीरेन्द्र पवार ने बताया कि आरोपितों के कब्जे से 20 लाख रुपये कीमत के 11 दुपहिया वाहन जब्त किए गए है। इस गिरोह में शामिल आशुतोष आइडीएफसी फाइनेंस कम्पनी का कर्मचारी है।

पुलिस ने बताया कि ओमती कबाड़ी मोहल्ला निवासी हामिद अली चाय की दुकान में काम करता था। 2020 में उसे दुपहिया वाहन की आवश्यकता पड़ी। उसने गुलफाम से यह बात कही, तो गुलफाम ने गाडी फाइनेंस कराने का आश्वासन दिया। हामिद ने गुलफाम को डाउन पेमेंट के लिए 20 हजार रुपये दिए। इस दौरान गुलफाम समेत हैदर ने उससे आधार कार्ड लिया। उसका पेन कार्ड बनवाया। बैंक एकाउंट खुलवाने के लिए फार्म पर अंगूठा लगवाया। इसके बाद मदन महल स्थित एक वाहन शोरूम ले गए। जहां एहफाज ने कागजों में अंगूठा लगवाया। बाद में बताया कि लोन फेल हो गया है।

हाल ही में फाइनेंस कंपनी के लोग हामिद के पास पहुंचे और उसके नाम पर दो वाहन और एक मोबाइल फाइनेंस होने की जानकारी उसे दी। ओमती पुलिस ने गुलफाम और हैदर को पकड़ा। सख्ती से पूछताछ की, तो दोनों ने एहफाज और फाइनेंस कंपनी के कर्मचारी आशुतोष के साथ मिलकर सात बुलेट और चार स्कूटर अलग-अलग लोगों के नाम से फाइनेंस कराने और दूसरों को कम दाम में बेचने की जानकारी दी। जिसके बाद पुलिस ने एहफाज और आशुतोष को भी पकड़ लिया।

गैंग में सभी का अलग-अलग काम था। गुलफाम जहां शिकार तलाशता था, वहीं हैदर बैंक एकाउंट खुलवाने और पेन कार्ड बवाने का काम करता था। आशुतोष उन दस्तावेजों के आधार पर अपनी फाइनेंस कम्पनी से लोन पास करवाता और फिर एहफाज फाइनेंस वाहनाें को बेचने के लिए ग्राहक तलाशता था। पुलिस के अनुसार गैंग में कई और लोग भी शामिल हैं, जिनकी तलाश की जा रही है।

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